श्री सांगल माता, भादरिया (जैसलमेर)


यह मालपानी, जांवदिया खांप की कुल देवी है।

सांगलमाता का मूल नाम स्वागिया माता है। श्री भादरिया राय के नाम से  प्रसिद्ध माताजी का यह मन्दिर भारत पाक सीमा पर स्थित जैसलमेर से 80 किमी की दूरी पर भादरिया गांव में स्थित है। इस मन्दिर का इतिहास 1100 साल से अधिक पुराना है। पहले यहां छोटा मन्दिर था बाद में इसका जिर्णोद्धार हुआ। यह मन्दिर एक टीले पर नागर शैली में बना है। कहा जाता है कि मां भादरिया हिंगलाज माता का अवतार है। माता की कुल सात बहनें थी। माता के मन्दिर में नियमित पूजा अर्चना के साथ नवरात्रि में लगने वाला मेला विशेष आर्कषण का केन्द्र है। माता के मन्दिर के साथ भादरिया अनूठी लाइब्रेरी की वजह से विख्यात है। भादरिया लाइब्रेरी देश के प्रमुख पुस्तकालयों में से एक है यह अन्डरग्राउन्ड लाइब्रेरी जिसमें लाखों पुस्तके हैं। इनमें कई दुर्लभ पुस्तके भी शामिल है। इसके अलावा यहां 15000 गायों की एक विशाल गौशाला भी है। यह स्थान भादरिया महाराज की तपस्या स्थली भी है।

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