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जाखण माता जाखोटिया तथा आगसुन्ड खांप की कुल माता है। भीलवाडा जिले के माण्डल गांव में स्थित जाखण माताजी को यक्षणी माता व सीसणाय माता के नाम से भी जाना जाता है। माताजी का मन्दिर अति प्राचीन है। इसके स्थापना के ठोस तथ्य तो ज्ञात नहीं है लेकिन मन्दिर के एक गुम्बद पर शिलालेख मे संवत 1661 अवश्य लिखा है। माताजी का स्वरूप अप्रतीम और दुर्लभ है। मूर्ति का धड तो एक है लेकिन चेहरे दो है। माताजी को चावल, चूरमा व लापसी का भोग लगता है। मन्दिर माण्डल गांव के बीच मे ऊंचाई पर स्थित है। माताजी मन्दिर के पीछे टीले पर शिव मन्दिर व परिसर के नीचे भैरव देव स्थान व विभिन्न माताजी स्थापित है। मन्दिर परिसर में ठहरने के लिये सामान्य सुविधा युक्त दो धर्मशालायें है। यहां शौचालय, स्वच्छ पानी व बिजली की व्यवस्था है। ग्राम पंचायत के सहयोग से यहां 1 बरामदा, 3 कमरे व 2 शौचालय व स्नानघर का निर्माण किया गया है। माण्डल कस्बे में जागेटिया परिवार तो नहीं रहते लेकिन अन्य खांप के 200 माहेश्वरी परिवार रहते है। सन 2016 व 2018 में समस्त जागेटिया परिवार का सम्मेलन माण्डल में किया गया जिसमें करीब 500 परिवार पूरे भारत से सम्मिलित हुए। भीलवाडा से 10 किमी की दूरी पर स्थित माण्डल गांव रेलवे से भी जुड़ा है। यह जयपुर रतलाम लाइन पर स्थित है। भीलवाडा होकर माण्डल पहुंचा जा सकता है। अधिक जानकारी हेतु सम्पर्क करें - श्री बृजमोहन जागेटिया, गोपाल द्वारा गली, बड़े मन्दिर के पास, भीलवाड़ा मो. 9214531939 |